"दादा ऐसी बेरुखी न दिखाओ, बिना चाय पीये तो जाऊँगा नहीं।" "दादा ऐसी बेरुखी न दिखाओ, बिना चाय पीये तो जाऊँगा नहीं।"
पंडित मदन मोहन मालवीय यदि कोई संकल्प कर लेते थे तो उसे पूरा किए बिना नहीं छोड़ते थे। पंडित मदन मोहन मालवीय यदि कोई संकल्प कर लेते थे तो उसे पूरा किए बिना नहीं छोड़ते...
खुली पलक में झूठा गुस्सा बंद पलक में प्यार, जीना भी मुश्किल…..। खुली पलक में झूठा गुस्सा बंद पलक में प्यार, जीना भी मुश्किल…..।
काश कि यह सपना कभी खत्म नहीं होता। मगर ऐसा कहां होता है ? काश कि यह सपना कभी खत्म नहीं होता। मगर ऐसा कहां होता है ?
सिर को पकड़कर वह स्वंय को संभालने की कोशिश करने लगे । सिर को पकड़कर वह स्वंय को संभालने की कोशिश करने लगे ।
प्यार किसी भी मुश्किल काम को आसान बनाने की कुंजी है। प्यार किसी भी मुश्किल काम को आसान बनाने की कुंजी है।